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Sunday 29 October 2017

शिक्षा में सुधार कर विद्यालय बनेंगे सक्षम

यमुनानगर : खंड शिक्षा अधिकारी जगाधरी ने अपने कार्यालय में सभी नोडल व कलस्टर अधिकारियों की बैठक ली। उन्होंने सभी को बताया कि शिक्षा में सुधार कर सक्षम विद्यालय बनाने के लिए 30 नवंबर तक का समय स्कूलों को दिया गया है। खंड जगाधरी शिक्षा के स्तर पर सक्षम बने इसके लिए अध्यापकों को कमर कसनी होगी। मानिटरिंग के दौरान खामियां मिलने पर संबंधित अध्यापक तथा स्कूल मुखिया विभागीय कार्रवाई के लिए स्वयं ही जिम्मेदार होंगे।
सतीश गोयल ने बैठक में कहा कि अब बच्चों को ठीक से पढ़ाना सुनिश्चित करे ताकि 30 नवंबर तक शिक्षा में सुधार कर जगाधरी को शिक्षा के स्तर पर सक्षम खंड बनाया जा सके। जिला उपायुक्त आरएस खरब ने इस संबंध में खंड शिक्षा अधिकारियों के साथ मीटिंग की है। जिसमें उन्होंने बताया था कि जिला के दो ब्लाक रादौर व साढौरा सक्षम करने हेतु चुने गए हैं। जैसे ही 80 प्रतिशत स्कूल मेरा स्कूल सक्षम स्कूल लिखकर भेज देंगे उस खंड को सक्षम मान लिया जाएगा। उसकी रिपोर्ट उच्चधिकारियों को भेज दी जाएगी। उन्होंने कहा था कि सरकारी स्कूलों में हालात संतोषजनक नहीं है। साथ ही उन्होंने एक महीने के अंदर छह के छह ब्लाक सक्षम ब्लाक बन बनाने पर जोर दिया। इसके लिए नियमित रूप से स्कूलों का निरीक्षण किया जाएगा। वे स्वयं भी औचक निरीक्षण करेंगें।
बच्चों के लें साप्ताहिक टेस्ट 
इसके लिए सभी अध्यापक बच्चों के साप्ताहिक टेस्ट लेंगे। इंचार्ज काउंटर साइन करे। कक्षा को तीन स्तर पर बांटे तथा उनकी प्रोग्रेस नोट करे। बच्चों में किसी भी प्रकार की कमियां देखकर नजरअंदाज न करे। उनकी प्रतिभा को निखारे। अध्यापन कार्य को किसी भी सूरत में पूरा करे। मासिक सिलेब्स को पूरा करे। चाहे जो हो लेकिन पढ़ाई का कार्य सही होना जरूरी हो। अध्यापक किसी भी प्रकार की लापरवाही न करे। उन्होंने कहा कि अब किसी भी प्राथमिक स्कूल में अध्यापकों की कमी नहीं है।
इन बदुओं पर रहेगा मुख्य फोकस
  • सीखने के प्रतिफल प्रत्येक कक्षा के हाजिरी रजिस्टर में पीछे पेस्ट होना चाहिए। प्रत्येक अध्यापक को पता होना चाहिए कि उसकी कक्षा के विद्यार्थी को कक्षा के अनुरूप क्या-क्या आना चाहिए। रजिस्टर में पीछे पेस्ट होने पर उसको पता रहेगा कि बच्चों को क्या-क्या सिखाना है।
  • सीखने के प्रतिफल को सभी बच्चों के माता-पिता को दिया जाएगा ताकि उनको भी पता हो कि उनके बच्चों को कक्षा के अनुरूप क्या-क्या आना चाहिए।
  • जिला के सभी स्कूलों में पहली से आठवीं तक स्टैंडर्ड टाइम टेबल लगा होना चाहिए। इसके लिए डीसी ने जगाधरी बीईओ सतीश गोयल को विशेष रूप से इस काम कि जिम्मेदारी सौंपी है। ताकि सारे जिले में एक समान टाइम टेबल हो।
  • सभी अध्यापक अपनी कक्षाओं के बच्चों को तीन श्रेणियों में विभाजित करें धीरे-धीरे सीखने वाले, सामान्य व प्रतिभाशाली। सभी अध्यापकों को अपनी-अपनी कक्षाओं के ऐसे बच्चों का पता होना चाहिए व उनकी सूची उनके पास होनी चाहिए।

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