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Monday 29 January 2018

स्कूलों में बाइक और मोबाइल नहीं ले जा सकेंगे विद्यार्थी, क्लास में टीचर भी नहीं रख सकेंगे फोन

** छह पंचायतों का बड़ा फैसला : सरकारी स्कूलों में शिक्षा का स्तर सुधारने का प्रयास
मुंढ़ाल : पांच गांवों के मौजिज व्यक्तियों व पंचायतों ने शिक्षा का स्तर सुधारने के लिए पंचायत बच्चों के लिए मोबाइल व बाइक के प्रयोग पर प्रतिबंध लगा दिया है। कोई भी बच्चा स्कूल समय के दौरान बाइक व मोबाइल का प्रयोग करता मिला तो उसका नाम काट दिया जाएगा। इतना ही नहीं शिक्षक भी कक्षा के दौरान मोबाइल अपने पास नहीं रख सकेगा। अलखपुरा के राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक स्कूल में वर्तमान सत्र में 606 विद्यार्थी शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं। स्कूल का शिक्षा स्तर और बेहतर बनाने के लिए अलखपुरा सहित पांच गांवों की पंचायत ने विद्यार्थियों के मोबाइल व बाइक चालने पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा दिया है। इसके लिए पंचायत प्रतिनिधियों ने घर घर जाकर ये फरमान सुनाया है। पंचायत के इस फरमान को सभी ने स्वीकार भी लिया है। अब अलखपुरा के राजकीय स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों को अभिभावक पंचायत नियमों के तहत स्कूल भेजेंगे। 
अलखपुरा के राजकीय स्कूल में अलखपुरा सहित बड़सी, खेड़ी दौलतपुर, कुंगड़, सिवाना, मेहंदा, मेहंदा ढाणी व गढ़ी के बच्चे शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं। अन्य राजकीय स्कूलों की अपेक्षा अलखपुरा के राजकीय स्कूल में बच्चों की संख्या अधिक है। मुख्य कारण सरकारी स्कूल में शिक्षा को एक नई पहचान दिलाने के लिए अच्छे शिक्षकों के साथ साथ ग्राम पंचायत की मानिटरिंग कमेटी का प्रभावी होना है। इस कमेटी में केवल शिक्षा से जुड़े लोग व अभिभावक ही शामिल हैं। अलखपुरा सरपंच संजय चौहान ने बताया कि सरकारी स्कूल में शिक्षा स्तर को एक नई पहचान देने के लिए ग्रामीण व शिक्षक मिल जुलकर स्कूल में सभी मूलभूत सुविधाओं का प्रबंध करेंगे।
राजकीय प्राथमिक पाठशाला व राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय के शिक्षकों ने तस्वीर बदल दी है। स्कूल में बेहतर शिक्षा के साथ साथ हाल ही में प्राचार्य सुरेश कुमार यादव ने शिक्षकों के सहयोग व सरकार द्वारा जारी राशि से स्कूल को एक नया रूप दिया है। इतना ही नहीं बवानी खेड़ा ब्लॉक में अलखपुरा का राजकीय स्कूल सौंदर्यीकरण में इस बार पहले स्थान पर रहा है। प्राचार्य सुरेश कुमार ने बताया कि स्कूल की इमारत की मरम्मत से लेकर रंगाई पुताई तक का सारा काम पूरा हो चुका है।
कमेटी बना दाखिले कराने पर भी जोर देगी पंचायत  
पंचायत में यह भी फैसला हुआ की इस बार सभी पंचायत प्रतिनिधि अपने अपने गांवों में विशेष कमेटी बना इस बार सरकारी स्कूलों में बच्चों के दाखिले करवाने पर विशेष जोर देगी। पंचायत में मौजूद अलखपुरा सरपंच संजय चौहान, बड़सी सरपंच फतेहसिंह, मेहंदा सरपंच संजय, सिवाना सरपंच वजीर सिंह, खेड़ी दौलतपुर सरपंच प्रतिनिधि मा. इंद्र सिंह ने गांव के गणमान्य लोगों के बीच सरकारी स्कूलों में शिक्षा स्तर को सुधारने के लिए कई अहम फैसले सुनाए, जिनकी स्कूल प्रशासन सहित आस पास के गांवों के लोगों ने खूब सराहना की।
पंचायतों के जनहित में फैसले


  • ढिगावा में पंचायत ने स्कूल व आस पास सीसीटीवी कैमरे लगवाने का फैसला लिया ताकि स्कूल से बंक करने वाले बच्चों काे चिंहित कर उन्हें ऐसा करने से रोका जा सके। 
  • बड़दू धीरजा में मृत्युभोज बंद कर शोक के आठ दिनों पर जताई सहमति। 
  • बड़दू चैना में ग्राम पंचायत व राजकीय स्कूल स्टॉफ नौंवी व 11 वीं कक्षा के विद्यार्थियों को करवाएंगे प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी। 
  • जुई की तीन पंचायतों ने ग्रामीणों के सहयोग से बेसहारा पशुओं के लिए किया गोशाला का निर्माण। 


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