.

.

Breaking News

News Update:

How To Create a Website

Wednesday 12 November 2014

अब स्कूल कर सकेंगे रिजल्ट का मूल्याकंन

भिवानी : देशभर में केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड स्कूलों में शिक्षा की गुणवत्ता को बेहतर बनाने की राह पर चल पड़ा है। बोर्ड ने इसको लेकर सारांश प्रणाली पेश की है। इसके तहत बोर्ड से संबंधित स्कूल अपने स्कूलों के रिजल्ट का मूल्याकंन कर सकेंगे। इतना ही नहीं सारांश के जरिये स्कूल अन्य संस्थानों से अपनी तुलना करके और सुधार कर सकेंगे। 
साथ ही स्कूल विद्यार्थियों, विषयों व शिक्षकों में भी गुणात्मक बदलाव कर सकेंगे। बोर्ड ने इसको लेकर स्कूलों को एक सर्कुलर भी जारी कर दिया है। 
सरकुलर के मुताबिक नई प्रणाली के माध्यम से कोई भी स्कूल विभिन्न स्तरों पर जैसे राष्ट्रीय, क्षेत्रीय, जच्य, सरकारी, निजी, नवोदय विद्यालय व केंद्रीय विद्यालय के साथ अपने रिजल्ट की तुलना कर सकेंगे। बोर्ड का उद्देश्य है कि कहीं न कहीं इससे स्कूलों के रिजल्ट में सुधार आएगा। हर कोई स्कूल एक दूसरे को पछाड़ने की कोशिश में लगा रहेगा। जानकारों के मुताबिक इसे शिक्षा के स्तर में निंदेह काफी सुधार आएगा। इसलिए इस प्रोजेक्ट की सराहना होनी चाहिए।
प्रतिस्पर्धा की दौड़ में स्कूलों के विद्यार्थी एवं शिक्षक भी अपनी भागीदारी दिखाएंगे। बता दें कि सारांश वर्ष 2007 से 10वीं कक्षा व 2009 से मौजूदा शैक्षणिक सत्र तक 12वीं कक्षा तक का विवरण उपलब्ध कराता है। इसके माध्यम से सभी स्कूल वर्ष 2007 से अपने प्रदर्शन का मूल्यांकन कर सकेंगे। सारांश स्कूलों के प्रदर्शन को संख्या के साथ चार्ट व ग्राफ के जरिये पेश करेगा, ताकि स्कूल इसे आसानी से समझ सके। 
स्कूलों को मिलेगी यूजर आइडी
प्रक्रिया के तहत प्रारंभ में स्कूलों के संचालकों को यूजर आइडी और एक गोपनीय पासवर्ड उपलब्ध कराया जाएगा। इसी मदद से वे सारांश प्रणाली का उपयोग कर सकेंगे। 
देश के किसी भी स्कूल से कर सकेंगे समीक्षा : प्रशासक
हलवासिया विद्या विहार स्कूल के प्रशासक राज कुमार सैनी ने कहा कि सारांश के जरिये सीबीएसई स्कूल देश या क्षेत्र के किसी भी अन्य स्कूलों के साथ अपने प्रदर्शन की समीक्षा कर सकेंगे। कहीं न कहीं इससे स्कूलों के रिजल्ट में सुधार हो सकेगा।                                                   dj

No comments:

Post a Comment

Note: only a member of this blog may post a comment.