.

.

Breaking News

News Update:

How To Create a Website

Thursday 3 July 2014

‘एपीएआर’ के विरोध में शिक्षकों ने एकजुट होकर किया बहिष्कार

शिक्षा विभाग ने शिक्षकों की गोपनीय वार्षिक रिपोर्ट फार्मेट में भारी फेरबदल कर दिया है जिस पर शिक्षक वर्ग अपना विरोध जता चुका है परन्तु विरोध को दरकिनार कर शिक्षा विभाग ने फरमान जारी करते हुए एसीआर की जगह वार्षिक गोपनीयता मूल्यांकन रिपोर्ट के रूप में 4 जुलाई को ‘एपीएआर’ भरने का आदेश दिया है। परम्परागत रूप से पहले शिक्षकों की एसीआर लिखी जाती थी लेकिन अब उसकी जगह ‘एपीएआर’ भरनी पड़ेगी। 
शिक्षकों ने बताया कि इसमें अध्यापक, स्कूल हेड, खंड शिक्षा अधिकारी व जिला शिक्षा अधिकारी वर्ष 2013-14 में अपनी गतिविधियों के बारे में विस्तार से जानकारी दर्ज करेंगे। इसमें बच्चों के दाखिलों, पास प्रतिशतता, खेलकूद, स्कूल की अन्य गतिविधियां भी शामिल हैं। यह फार्म सौ अंक का होगा। अध्यापक द्वारा फार्म में दी गई जानकारी के आधार पर स्कूल हेड अपने विचार लिखेगा। इसके बाद खंड शिक्षा अधिकारी व जिला शिक्षा अधिकारी भी अपनी प्रतिRिया देगा। 5 नवंबर को इस फार्म को अध्यापक के बायोडाटा के तौर पर शामिल कर लिया जाएगा। इसके बाद यह रिपोर्ट हर वर्ष अपडेट होती रहेगी। बल्कि वार्षिक रिपोर्ट बदलती रहेगी। अध्यापकों की ‘एपीएआर’ को ऑनलाइन कर दिया जाएगा और इसी के आधार पर ट्रांसफर या पदोन्नति होगी।
कल भरना होगा ‘एपीएआर’
शिक्षा विभाग के इस नए प्रयोग के विरुद्ध शिक्षक वर्ग एकजुट हो कर विरोध में उतर आया है। राजकीय प्राथमिक शिक्षक संघ के महासचिव दीपक गोस्वामी ने बताया कि ‘एपीएआर’ भरने के फरमान का पूर्ण बहिष्कार किया जाएगा। 4 जुलाई को 11 बजे प्रदेश के 30,000 प्राथमिक शिक्षक 21 जिलों में बिना भरे खाली ‘एपीएआर’ बुकलेट जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी कार्यालयों में देंगे और विरोध प्रदर्शन करेंगे। उन्होंने आरोप लगाया कि शिक्षा विभाग के अधिकारीओं पर सरकार का कोई नियंत्रण नहीं है और शिक्षकों को नित नए फरमानों से परेशान किया जा रहा है जिसका शिक्षक वर्ग मुहतोड़ जवाब देगा। ‘एपीएआर’ को गैर क़ानूनी बताते हुए कहा कि सेवा नियमावली में इसका कोई प्रावधान ही नहीं है,अधिकारी मनर्मजी करने पर आमादा है। उन्होंने सरकार को चेताया कि शिक्षा विभाग के प्रयोगो से त्रस्त शिक्षकों की नाराजगी का खामियाजा उसे चुनाव में भुगतना पड़ सकता है। गौरतलब है कि पूर्व में भी टीएनए टेस्ट का शिक्षकों द्वारा किये गए पूर्ण बहिष्कार से विभागीय अधिकारीओं की काफी किरकिरी हो चुकी है। उल्लेखनीय है कि प्राथमिक शिक्षकों ने अपनी मांगों को लेकर 15 जुलाई को शिक्षा सदन के घेराव करने का ऐलान किया हुआ है।                                                  hb

No comments:

Post a Comment

Note: only a member of this blog may post a comment.