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Wednesday 2 July 2014

अंकल, टीचर कक्षा में कम, फेसबुक पर ज्यादा दिखती हैं

** स्कूली समस्याओं को लेकर बच्चों ने उपराज्यपाल नजीब जंग को भेजे पोस्टकार्ड
** नरेला, बाहरी दिल्ली के सरकारी स्कूलों के बच्चों ने उठाया कदम
नई दिल्ली : अंकल, हमारी टीचर कक्षा में कम और फेसबुक पर ज्यादा दिखाई देती हैं। टीचर गाली देकर कहती हैं कि गाली देना गलत बात है और हमें बिना पढ़े ही संगीत और योगा विषय में अंक दिए जाते हैं। टीचर, नकल कराती हैं और कहती हैं कि अच्छे से पेपर करो, ताकि मेरी रिपोर्ट खराब न हो। हमें लड़के छेड़ते हैं तो अध्यापक कुछ नहीं करते। ये बातें किसी नाटक का अंश नहीं, बल्कि दिल्ली के सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं की आपबीती है। यह आपबीती नरेला व बाहरी दिल्ली क्षेत्र के 100 से ज्यादा सरकारी व नगर निगम स्कूल के छात्र-छात्राओं ने पोस्टकार्ड के माध्यम से उपराज्यपाल को बताई है। छात्र-छात्राओं ने सोशल जूरिस्ट नामक संस्था के पदाधिकारी अशोक अग्रवाल के माध्यम से अपनी आपबीती पोस्टकार्ड में लिखकर उपराज्यपाल नजीब जंग को भेजी है और अपने-अपने स्कूलों में सुविधाएं उपलब्ध कराने की मांग की है। राजधानी दिल्ली में सरकारी स्कूलों में असुविधाओं को दूर करने के लिए सोशल जूरिस्ट नामक संस्था ने सभी सरकारी स्कूलों में पोस्टकार्ड वितरित किए थे। स्कूली बच्चों से कहा गया था कि वे इन पर अपनी समस्याएं लिखकर उपराज्यपाल को भेजें। जिससे इन पर कार्रवाई की जा सके। अभियान के तहत बाहरी दिल्ली, नरेला और होलंबी कलां से बच्चों द्वारा कुल 109 पोस्टकार्ड उपराज्यपाल को भेजे गए हैं। 
नरेला स्थित एक नगर निगम विद्यालय की दसवीं कक्षा की छात्रा ने अपने पोस्टकार्ड में लिखा है कि उनकी अंग्रेजी विषय की अध्यापिका उन्हें ठीक ढंग से नहीं पढ़ाती। वह हर समय अपने मोबाइल फोन पर फेसबुक व व्हाटस एप में स्टेटस अपडेट करती रहती हैं। उनकी अध्यापिका कक्षा में कम और फेसबुक पर ज्यादा सक्रिय हैं। होलंबी कलां के राजकीय कन्या वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय की 10वीं कक्षा की एक छात्रा ने अपने पोस्टकार्ड में लिखा है कि उनके स्कूल में संगीत व योगा के शिक्षक नहीं हैं और न ही इन विषयों की कभी कोई कक्षा लगती है। इसके बावजूद उन्हें बिना पढ़ाई के शिक्षकों द्वारा इन विषयों में नंबर दिए जा रहे हैं। मेट्रो विहार स्थित राजकीय कन्या वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय की आठवीं कक्षा की एक छात्रा ने पोस्टकार्ड में लिखा है कि उनकी पीटी की टीचर उन्हें गंदी गालियां देती है और कहती है कि गाली देना पाप है। अगर कोई टीचर को गाली देने के संबंध में कोई बात कहता है तो वह गाली देते हुए कहती हैं कि वह तो कभी गाली नहीं देती। 
होलंबी कलां स्थित राजकीय सह-शिक्षा विद्यालय की दसवीं कक्षा की एक छात्रा ने बताया कि उसके स्कूल में परीक्षा के दौरान टीचर खुद नकल कराती हैं। वे कहती हैं कि अच्छे से पेपर करो, ताकि मेरा रिकार्ड खराब न हो। कोई नकल के बावजूद फेल हुआ तो उसकी खैर नहीं। वहीं, नरेला स्थित राजकीय प्रतिभा विकास विद्यालय की एक छात्रा लिखती है कि उनके स्कूल के बाहर लड़के लड़कियों को परेशान करते हैं। शिक्षकों से इसकी शिकायत की गई, मगर कोई कार्रवाई नहीं हुई। इसके अतिरिक्त नरेला के कई अन्य सरकारी स्कूलों से बच्चों ने स्कूल में पीने का पानी, गंदगी, खेल के मैदान की कमी एवं अन्य कई बुनियादी सुविधाओं की कमी भी उपराज्यपाल को अपने पोस्टकार्डो के माध्यम से गिनाई हैं।            dj

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