.

.

Breaking News

News Update:

How To Create a Website

Tuesday 20 May 2014

प्रोफेसर हैं या स्पाइडरमैन! एक टाइम पर दो शहरों में मौजूद

** सेलेक्शन कमेटी में सब्जेक्ट एक्सपर्ट के तौर पर शामिल हुए हिसार और दिल्ली की यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर, आरटीआई में मांगी जानकारी तो पढ़ाते मिले 
रोहतक : वैश्य एजुकेशन सोसायटी का एक और गड़बड़झाला सामने आया है। इस बार संस्था से जुड़े एक कालेज में प्रिंसिपल की नियुक्ति के लिए हुई सेलेक्शन कमेटी की बैठक पर सवाल उठा है। सेलेक्शन कमेटी में सब्जेक्ट एक्सपर्ट के तौर पर हिसार की गुरु जंभेश्वर यूनिवर्सिटी से एक तथा दिल्ली की जामिया हमदर्द यूनिवर्सिटी के दो प्रोफेसर मौजूद दिखाए गए, लेकिन यूनिवर्सिटी के अनुसार वे उस समय अपनी-अपनी यूनिवर्सिटी में क्लास ले रहे थे। जाहिर सी बात है या तो ये प्रोफेसर स्पाइडरमैन की तरह पलक झपकते ही कहीं पर भी पहुंच सकते हैं, या एक जगह इनकी फर्जी हाजिरी दिखाई गई। इस मामले का खुलासा होने के बाद प्रशासक ने इसकी जांच एसडीएम को सौंपी है। 
विवि रिकॉर्ड में ऑन ड्यूटी हैं प्रोफेसर 
बैठक का समय 11 अप्रैल 2011 को सुबह 11 बजे दिखाया गया। बैठक में तत्कालीन प्रधान रामभरोसे गोयल, मैनेजर पंकज गुप्ता व सेक्रेटरी अशोक गुप्ता व तीनों सब्जेक्ट एक्सपट्र्स थे। संबंधित विवि से तीनों प्रोफेसरों के बारे में जानकारी ली गई तो हिसार विवि के डॉ.डीएन मिश्रा व जामिया विवि दिल्ली के प्रोफेसर एसए खान रोहतक में मीटिंग के दौरान अपनी-अपनी यूनिवर्सिटी में बच्चों को पढ़ा रहे थे। इसके अलावा जामिया विवि के प्रोफेसर एसएच अंसारी कैजुअल लीव पर थे। 
15 दिन में रिपोर्ट देंगे एसडीएम 
प्रिंसिपल की नियुक्ति के लिए दर्शाई गई सेलेक्शन कमेटी की बैठक में धांधली का पता लगने पर संस्था के सदस्य अजय गुप्ता ने बीती 28 अप्रैल को संस्था कार्यालय के जरिये प्रशासक से मामले की शिकायत की। आरोप लगाया कि विवि से मिली जानकारी से स्पष्ट है कि प्रिंसिपल की नियुक्ति के नाम पर बैठकों में भी मनमानी और धांधली का खेल चला है। अपने चहेतों को गलत तरीके से अप्वाइंट कर उन्हें उच्च वेतनमान दिया गया। उन्होंने मामले की जांच कराकर दोषियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने की मांग की थी। इस मामले को गंभीरता से लेते हुए प्रशासक डॉ.अमित अग्रवाल ने सोमवार को मामले की जांच एसडीएम को सौंपी है। प्रशासक ने 15 दिन के अंदर उक्त मामले की जांच रिपोर्ट सबमिट कराने के निर्देश दिए हैं। 
तीन वर्ष पुराना है मामला, खुलासा अब हुआ 
वैश्य फार्मेसी कालेज में प्रिंसिपल की नियुक्ति की प्रक्रिया के तहत 11 अप्रैल 2011 को संस्था कार्यालय में आवेदकों का इंटरव्यू लेने के लिए संस्था कार्यालय में बैठक थी। योग्य प्रिंसिपल का चयन करने के लिए तीन सब्जेक्ट एक्सपट्र्स भी मौजूद दिखाए गए। इनमें हिसार की गुरु जंभेश्वर यूनिवर्सिटी से डॉ. डीएन मिश्रा तथा दिल्ली की जामिया हमदर्द यूनिवर्सिटी के प्रो.एसएच अंसारी तथा प्रो.एसए खान शामिल थे। तीनों सब्जेक्ट एक्सपट्र्स को अच्छा-खासा टीए-डीए भी दिया हुआ दिखाया गया। बीते साल संस्था में कई घोटाले उजागर हुए तो सदस्यों ने उक्त बैठक को लेकर भी दोनों विवि से सब्जेक्ट एक्सपट्र्स के बारे में जानकारी मांगी तो हैरत में डालने वाली बात सामने आई।                                               db 


No comments:

Post a Comment

Note: only a member of this blog may post a comment.