.

.

Breaking News

News Update:

How To Create a Website

*** Supreme Court Dismissed SLP of 719 Guest Teachers of Haryana *** यूजीसी नहीं सीबीएसई आयोजित कराएगी नेट *** नौकरी या दाखिला, सत्यापित प्रमाणपत्र की जरूरत नहीं *** डीडी पावर के लिए हाईकोर्ट पहुंचे मिडिल हेडमास्टर *** बच्चों को फेल न करने की पॉलिसी सही नहीं : शिक्षा मंत्री ***

Friday, 13 January 2017

पेपर चेकिंग फर्जीवाड़े में शिक्षक को कोर्ट ने सुनाई 2 साल की सजा

** चेकिंग सेंटर पर गया नहीं और बनाया फर्जी प्रमाणपत्र 
रेवाड़ी : बोर्ड परीक्षाओं की मार्किंग में ड्यूटी करने का फर्जी सर्टिफिकेट तैयार कर धोखाधड़ी करने वाले शिक्षक सतेंद्र सिंह को 2 साल की सजा सुनाई गई है। 9 हजार रुपए जुर्माना भी लगाया गया है। अप्रैल 2010 के इस मामले में एडिशनल चीफ ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट योगेश चौधरी की अदालत ने यह फैसला सुनाया। भुरथला निवासी अंग्रेजी प्रवक्ता सतेंद्र सिंह वर्ष 2010 में नंगली गोधा स्कूल में कार्यरत था। बोर्ड परीक्षा की उत्तरपुस्तिकाओं की मार्किंग के लिए सतेंद्र सिंह को रेवाड़ी राजकीय बाल वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय में नियुक्त किया गया था। 2 अप्रैल 2010 को सतेंद्र ने उपस्थिति दर्ज कराई तथा 10 कॉपियां जांची, मगर इसके बाद मूल्यांकन पर नहीं पहुंचा। लेकिन उसने 3 अप्रैल से 17 अप्रैल तक की अवधि के लिए फर्जी तरीके से क्लर्क इन मार्किंग सेंटर की सर्टिफिकेट तैयार कर ली। प्रिंसिपल के जाली हस्ताक्षर तक भी कर लिए। मार्किंग के लिए उसने 120 रुपए हर रोज के हिसाब से भुगतान ले लिया, वहीं स्कूल से भी पूरे अप्रैल माह का वेतन लिया। इस मामले में सेवानिवृत शिक्षक ओमप्रकाश यादव की शिकायत शहर थाना पुलिस ने मामला दर्ज किया था। यही मामला कोर्ट में चल रहा था। 

एमए की फर्जी डिग्री मामले में भी हो चुका सस्पेंड 
बता दें कि आरोपी शिक्षक वर्ष 2003 में फर्जी एमए की डिग्री मामले में सस्पेंड भी किया जा चुका है। हालांकि बाद में उसे अंग्रेजी प्रवक्ता के तौर पर पदोन्नति देते हुए दोबारा ज्वाइनिंग करा दी गई थी। वर्तमान में सतेंद्र सिंह बधराणा राजकीय स्कूल कार्यरत है। 



No comments:

Post a Comment

Note: only a member of this blog may post a comment.