चंडीगढ़ : पंचकूला में बेमियादी धरने पर बैठे कंप्यूटर शिक्षकों की मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर के साथ हुई बैठक बेनतीजा रही। बैठक के बेनतीजा रहने से मायूस कंप्यूटर शिक्षकों ने अनिश्चितकालीन धरना जारी रखने का फैसला लिया है। कंप्यूटर शिक्षकों का कहना है कि अगर सोमवार तक प्रदेश सरकार उनकी मांग पूरी नहीं करती तो वह आमरण अनशन शुरू कर देंगे।
प्रदेश की पूर्व कांग्रेस सरकार से लंबे समय तक लड़ाई लड़ने के बाद कंप्यूटर टीचर्स को भाजपा सरकार से उम्मीदें थी, जो पूरी नहीं हो सकी। कंप्यूटर शिक्षकों को मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने शुक्रवार को बातचीत के लिए बुलाया था। कंप्यूटर शिक्षक अपना कई माह का रुका हुआ वेतन दिलाने और निजी कंपनियों को काली सूची में डालने की मांग करने के साथ ही शिक्षा विभाग में समायोजित करने की लड़ाई लड़ रहे हैं। मुख्यमंत्री ने उन्हें भरोसा दिलाया कि रुका हुआ वेतन दिला दिया जाएगा, लेकिन अन्य मांगों पर सहमति नहीं बन पाई। कंप्यूटर टीचर वेलफेयर एसोसिएशन के प्रधान बलराम धीमान ने बताया कि मुख्यमंत्री के सामने मांग रखी गई थी कि उन्हें विभाग में समायोजित किया जाए और जिन कंपनियों के माध्यम से उन्हें रखा गया है, उन कंपनियों को काली सूची में डालकर बाहर का रास्ता दिखाया जाए। मुख्यमंत्री के सामने उन पॉलिसी को भी रखा गया, जिनके अंतर्गत कंप्यूटर शिक्षकों को विभाग में समायोजित किया गया है। बलराम धीमान के अनुसार राज्य सरकार का रुख साफ नहीं है। इसलिए अनिश्चितकालीन धरना जारी रहेगा। अगर राज्य सरकार ने दो से तीन दिन में उनकी सभी मांगों को पूरा नहीं किया तो अनिश्चितकालीन धरने को आमरण अनशन में बदल दिया जाएगा। dj
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