चंडीगढ़ : प्रदेश के कर्मचारियों ने मानी गई मांगों की अधिसूचना जारी न होने पर कड़े तेवर अख्तियार कर लिए हैं। कर्मचारी संगठनों ने कैबिनेट बैठक व समझौता वार्ता में हुए निर्णयों के लागू न होने पर नाराजगी जताई है। सर्व कर्मचारी संघ ने प्रदेश सरकार से चुनाव आचार संहिता लगने से पहले सभी महत्वपूर्ण निर्णयों की अधिसूचना जारी कराने की मांग की है। संघ ने सरकार को चेताया है कि अगर आचार संहिता से पहले कर्मचारी की मांगों को अमलीजामा नहीं पहनाया गया जो चुनाव में खामियाजा भुगतना पड़ सकता है।
संघ के प्रधान धर्मबीर फौगाट, महासचिव सुभाष लांबा, उप महासचिव जीवन सिंह ने बताया कि मानी गई मांगों की अधिसूचना जारी न होने से प्रदेश के कर्मचारियांे में बेचैनी बढ़ रही है। चूंकि आचार संहिता लगने पर तमाम मामले लटक सकते हैं। पंजाब के समान वेतनमान सहित अनेक मांगों की अधिसूचना जारी होने की कर्मचारी बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं। अभी तक मेडिकल, यात्रा, धुलाई व वर्दी भत्ते का परिपत्र जारी होना बाकी है। संघ नेताओं ने बताया कि मुख्यमंत्री के आदेशों के बावजूद कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय से निकाले गए करीब 1400 कच्च्चे कर्मचारियों को वापस डयूटी पर नहीं लिया जा रहा। न ही 3 वर्ष की सेवा पूरी कर चुके कर्मचारियों को नियमित करने की नीति सभी शर्ते पूरी करने वाले अनुबंधित टीचरों पर लागू की जा रही है। इससे कर्मचारियों में रोष है। dj
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