** सरकार का रुख तय करेगा कर्मचारी आंदोलन की दिशा
** अनुबंध कर्मियों को पक्का करना व पंजाब के समान वेतनमान मुख्य मांग
चंडीगढ़ : प्रदेश में लंबे समय से चल रहे कर्मचारी आंदोलन की आगामी दिशा हुड्डा सरकार का रुख तय करेगा। बुधवार को हरियाणा कर्मचारी तालमेल कमेटी व मुख्यमंत्री हुड्डा के बीच मांगों को लेकर तीन बजे सचिवालय में अंतिम दौर की वार्ता तय है। सहमति नहीं बनी तो सर्व कर्मचारी संघ आंदोलन की घोषणा कर सकता है।
कर्मचारी आंदोलन को शांत करने के लिए हालांकि मुख्यमंत्री हुड्डा प्रयासरत हैं, और उन्होंने कर्मचारियों की मांगों पर विचार करने के लिए तीन अलग-अलग समितियों का भी गठन किया हुआ है। इन समितियों की सिफारिशों पर ही मुख्यमंत्री को कर्मचारियों की मांगों पर निर्णय लेना है। कर्मचारियों की मुख्य मांगों में अनुबंध कर्मियों को पक्का करना व पंजाब के समान वेतनमान शामिल है। बुधवार को होने वाली वार्ता अगर इन मांगों पर सहमति बनती है तो लगभग 75 हजार अनुबंध कर्मियों की सेवाएं नियमित होंगी और 35 हजार के लगभग लिपिक वर्गीय कर्मचारियों को पंजाब के समान वेतनमान का लाभ मिलेगा।
कर्मचारियों व सरकार की वार्ता पर विपक्षी दलों की निगाहें भी टिकी हुई हैं। हरियाणा कर्मचारी तालमेल कमेटी के सदस्य राज सिंह दहिया व सुभाष लांबा ने बताया कि अगर मांगें पूरी न हुईं या वार्ता स्थगित की गई तो शुरुआती आंदोलन के तहत 28 फरवरी को पूरे प्रदेश में कर्मचारी विश्वासघात दिवस मनाएंगे।
ये हैं तालमेल कमेटी की मांगें
** अनुबंध कर्मियों को पक्का करना व पंजाब के समान वेतनमान मुख्य मांग
चंडीगढ़ : प्रदेश में लंबे समय से चल रहे कर्मचारी आंदोलन की आगामी दिशा हुड्डा सरकार का रुख तय करेगा। बुधवार को हरियाणा कर्मचारी तालमेल कमेटी व मुख्यमंत्री हुड्डा के बीच मांगों को लेकर तीन बजे सचिवालय में अंतिम दौर की वार्ता तय है। सहमति नहीं बनी तो सर्व कर्मचारी संघ आंदोलन की घोषणा कर सकता है।
कर्मचारी आंदोलन को शांत करने के लिए हालांकि मुख्यमंत्री हुड्डा प्रयासरत हैं, और उन्होंने कर्मचारियों की मांगों पर विचार करने के लिए तीन अलग-अलग समितियों का भी गठन किया हुआ है। इन समितियों की सिफारिशों पर ही मुख्यमंत्री को कर्मचारियों की मांगों पर निर्णय लेना है। कर्मचारियों की मुख्य मांगों में अनुबंध कर्मियों को पक्का करना व पंजाब के समान वेतनमान शामिल है। बुधवार को होने वाली वार्ता अगर इन मांगों पर सहमति बनती है तो लगभग 75 हजार अनुबंध कर्मियों की सेवाएं नियमित होंगी और 35 हजार के लगभग लिपिक वर्गीय कर्मचारियों को पंजाब के समान वेतनमान का लाभ मिलेगा।
कर्मचारियों व सरकार की वार्ता पर विपक्षी दलों की निगाहें भी टिकी हुई हैं। हरियाणा कर्मचारी तालमेल कमेटी के सदस्य राज सिंह दहिया व सुभाष लांबा ने बताया कि अगर मांगें पूरी न हुईं या वार्ता स्थगित की गई तो शुरुआती आंदोलन के तहत 28 फरवरी को पूरे प्रदेश में कर्मचारी विश्वासघात दिवस मनाएंगे।
ये हैं तालमेल कमेटी की मांगें
- 2 वर्ष की सेवा पूरी कर चुके सभी पार्ट टाइम, डेली वेजिज, अनुबंध, तदर्थ, वर्कचार्ज आधार पर लगे कर्मचारियों को पक्का किया जाए।
- कैशलेस मेडिकल सुविधा की अधिसूचना हो
- लिपिक वर्गीय कर्मचारियों को पंजाब के समान वेतनमान मिले
- प्रमोशनल स्केल तथा जोखिमपूर्ण कार्य करने वाले कर्मचारियों को जोखिम भत्ता दिया जाए
- तकनीकी पदों पर कार्यरत कर्मचारियों तकनीकी स्केल देने के आदेश बहाल हों
- रोडवेज के 3519 रूट परमिट निजी हाथों में देने का निर्णय रद किया जाए
- सरकारी विभागों में लागू की जा रही आउटसोर्सिग नीतियां बंद हों
- रोडवेज के एसपीएल चालकों व परिचालकों को ज्वाइनिंग तिथि से नियमित एरियर दें
- सहायकांे की ग्रेड-पे विसंगति दूर की जाए
- श्रम कानून कड़ाई से लागू हों dj
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