** जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी ने लिया संज्ञान, उच्च विभाग को फाइलें भेजने का दिया आश्वासन
हरियाणा स्कूल शिक्षा विभाग के कर्मचारियों की लापरवाही से लटके मिडल हैड की पदोन्नति के मामले में अधिकारियों ने मामला उठाना शुरु किया है। जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी (डीईईओ) ने जिन शिक्षकों का जवाब आया है उन्हें आगामी कार्रवाई के लिए भेजा जाएगा ताकि वे मिडल हेड बन सकें। हरियाणा स्कूल शिक्षा विभाग चंडीगढ़ ने 13 फरवरी 2014 को आदेश जारी करते हुए पूरे प्रदेश में 860 मिडल स्कूल हैड को पदोन्नत किया था। इसमें जिला सिरसा के 62 मिडिल हैड शामिल थे। इनमें से करीब 15 शिक्षकों की पदोन्नति का मामला लटक गया था। इसमें वर्ष 2009 में आठवीं तथा दसवीं की वार्षिक परीक्षा के दौरान कुछ अध्यापकों की ड्यूटी लगी थी लेकिन कुछ अध्यापक ड्यूटी पर नहीं पहुंचे। इस पर शिक्षा निदेशालय की ओर से जनवरी 2012 में उक्त शिक्षकों को कारण बताओ नोटिस जारी किया था। शिक्षकों के अनुसार उन्होंने फरवरी 2012 में नोटिस का जवाब दे दिया। शिक्षकों ने जवाब को खंड शिक्षा अधिकारी (बीईओ) के माध्यम से जिला शिक्षा अधिकारी को भेजा था। इस मामले को जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय ने आगे नहीं भेजा। पदोन्नति आदेशों में निदेशक ने सेक्शन सात और आठ का जिक्र करते हुए कहा कि आपराधिक मामलों में संलिप्त को बाहर रखा था। निदेशक के पास नोटिस का जवाब न पहुंचने के कारण विभाग ने उपरोक्त शिक्षकों की पदोन्नति रोक दी थी। ausrs
हरियाणा स्कूल शिक्षा विभाग के कर्मचारियों की लापरवाही से लटके मिडल हैड की पदोन्नति के मामले में अधिकारियों ने मामला उठाना शुरु किया है। जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी (डीईईओ) ने जिन शिक्षकों का जवाब आया है उन्हें आगामी कार्रवाई के लिए भेजा जाएगा ताकि वे मिडल हेड बन सकें। हरियाणा स्कूल शिक्षा विभाग चंडीगढ़ ने 13 फरवरी 2014 को आदेश जारी करते हुए पूरे प्रदेश में 860 मिडल स्कूल हैड को पदोन्नत किया था। इसमें जिला सिरसा के 62 मिडिल हैड शामिल थे। इनमें से करीब 15 शिक्षकों की पदोन्नति का मामला लटक गया था। इसमें वर्ष 2009 में आठवीं तथा दसवीं की वार्षिक परीक्षा के दौरान कुछ अध्यापकों की ड्यूटी लगी थी लेकिन कुछ अध्यापक ड्यूटी पर नहीं पहुंचे। इस पर शिक्षा निदेशालय की ओर से जनवरी 2012 में उक्त शिक्षकों को कारण बताओ नोटिस जारी किया था। शिक्षकों के अनुसार उन्होंने फरवरी 2012 में नोटिस का जवाब दे दिया। शिक्षकों ने जवाब को खंड शिक्षा अधिकारी (बीईओ) के माध्यम से जिला शिक्षा अधिकारी को भेजा था। इस मामले को जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय ने आगे नहीं भेजा। पदोन्नति आदेशों में निदेशक ने सेक्शन सात और आठ का जिक्र करते हुए कहा कि आपराधिक मामलों में संलिप्त को बाहर रखा था। निदेशक के पास नोटिस का जवाब न पहुंचने के कारण विभाग ने उपरोक्त शिक्षकों की पदोन्नति रोक दी थी। ausrs
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