** केंद्रीय मानव संसाधन मंत्रालय की ओर से मांगे सुझावों में भागीदारी को प्रदेश सरकार ने एजेंडा तैयार करना शुरू किया, पंचकूला में बैठक आज
रेवाड़ी : केंद्रीय मानव संसाधन मंत्रालय की ओर से पूरे देश में समान नई शिक्षा नीति को लेकर मांगे जा रहे सुझाव में अपनी भागीदारी निभाने के लिए प्रदेश सरकार ने पहली बार अपना एजेंडा तैयार करना शुरू कर दिया है। इसके लिए बुधवार को पंचकूला के शिक्षा सदन में सुबह 10 बजे बैठक होगी।
बैठक में अम्बाला-हिसार मंडल के 10 जिलों के सभी शिक्षा अधिकारी, अच्छा कार्य करने वाले प्राचार्य, हेडमास्टर, दोनों मंडल में आने वाली यूनिवर्सिटी से एक्सपर्ट, राज्य और राष्ट्रीय शिक्षक अवॉर्ड प्राप्त करने वाले शिक्षक, नामी निजी स्कूलों के प्राचार्य डाइट के प्रशिक्षु शिक्षक, शिक्षक संगठन विशेष तौर से भाग लेंगे। बैठक में हरियाणा शिक्षा निदेशालय के सभी शीर्ष अधिकारी उपस्थित रहेंगे। सबसे पहले आरटीई के दुष्परिणामों, खराब परीक्षा परिणाम पर चिंतन होगा। उसके बाद सभी से विचार विमर्श कर नई शिक्षा नीति को बेहतर बनाने के संबंध में सुझाव लिए जाएंगे।
इस बैठक में दोनों मंडल के तहत आने वाले जिलों में अंबाला, पंचकूला, यमुनानगर, कुरुक्षेत्र, कैथल, भिवानी, हिसार, सिरसा, फतेहाबाद, जींद शामिल हंै।
मंत्रालय के पास 1 माह में नई नीति को लेकर 2 लाख ने भेजे सुझाव :
25 मई से मानव संसाधन मंत्रालय ने नई शिक्षा नीति को लेकर पोस्टकार्ड, मेल, सोशल मीडिया के माध्यम से सुझाव मांगने शुरू किए थे। अभी तक 86 से ज्यादा पत्रों के माध्यम से एक लाख से 10 हजार के लगभग ऑनलाइन सुझाव मंत्रालय के पास पहुंच चुके हैं।
आरटीई में संशोधन का प्रस्ताव केंद्र को भेजेगी राज्य सरकार :
राज्यसरकार आरटीई के दुष्परिणामों को लेकर इसमें संशोधन के लिए एक बार फिर अपने सुझाव केंद्र को भेजेगा। इस पर 8 जुलाई को होने वाली बैठक में भी चर्चा होगी। इसके बाद गुड़गांव और रोहतक जोन के तहत आने वाले जिलों के अधिकारियों की बैठक में यहीं मुद्दे रखे जाएंगे।
इन सुझावों पर की जाएगी चर्चा
- कक्षा एक दो के लिए समर्थित शिक्षक होना चाहिए या नहीं। प्राथमिक स्तर पर कैसे खेल कला विश्वासत्मक होनी चाहिए।
- छात्रा मूल्यांकन प्रणाली का स्वरूप कैसा होना चाहिए।
- कक्षा पहली से पांचवीं तक के बच्चों को कौनसी भाषा में शिक्षा होनी चाहिए।
- राजकीय पाठशालाओं में प्ले स्कूल होना चाहिए या नहीं।
- सभी वर्ग के लोगों से भी सवाल किया गया है स्कूलों में आपके बच्चों के खराब परिणाम का क्या कारण है।
- हम कैसे सुनिश्चित करें कि सरकारी स्कूलों में योग्य शिक्षक हैं।
- वास्तव मे शिक्षक के अंदर गुणवत्ता शिक्षा देने वाली योग्यता है या नहीं
सबसे बड़ा सवाल : सरकार शिक्षा में एफडीआई लाने की तैयारी में तो नहीं
केंद्रीय मानव संसाधन मंत्रालय ने राज्य सरकार को नई शिक्षा नीति को लेकर भेजे प्रारूप में एक अहम सवाल भी किया है। जिसमें सिर्फ सरकार से ही सलाह मांगी गई है कि वह तय करके बताए कि नई शिक्षा नीति में अंतरराष्ट्रीय भागेदारी होनी चाहिए या नहीं। बैठक में भाग लेने जा रहे शिक्षक संगठनों ने इस बात की जानकारी मिलते ही अपने स्तर पर रणनीति बनानी शुरू कर दी है। प्राथमिक शिक्षक संगठन हरियाणा के प्रदेश महामंत्री दीपक गोस्वामी का कहना है कि मंत्रालय के इस सवाल ने सरकार के इरादों को बता दिया है। समय आने पर संगठन इसका पुरजोर विरोध करेगा। db
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