भिवानी : हरियाणा विद्यालय शिक्षा बोर्ड के दसवीं व बारहवीं कक्षाओं के परीक्षा परिणाम शर्मनाक रहने व सरकारी स्कूलों में निरंतर गिर रहे शिक्षा के स्तर से परेशान प्रदेश सरकार व शिक्षा विभाग ने अब सरकारी स्कूलों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है।
स्कूलों में छात्रों की उपस्थिति सुनिश्चित करने, फर्जी दाखिलों पर रोक व मिड-डे-मील स्कीमों में घपलों पर अंकुश लगाने के बाद विभाग ने अब स्कूलों में बच्चों के टैस्ट को लेकर प्राचार्यों व अध्यापकों की जवाबदेही तय करने का मन बना लिया है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार अब मंथली टेस्ट प्रक्रिया में किसी प्रकार की चूक पाए जाने पर स्कूल प्राचार्य व इंचार्ज पूरी तरह से जिम्मेदार होंगे। इसके लिए शिक्षा निदेशालय की ओर से संबंधित बीई व डीईओ कार्यालयों में निर्देश जारी कर दिए गये हैं। यह मंथली टेस्ट 25 से शुरू हो गये हैं, जो 31 जुलाई तक चलेंगे। यह यूनिट टेस्ट स्कूल टीचर खुद लेेंगे।
डायरी में दर्ज करना होगा रिकार्ड
मंथली टेस्ट की जांच करने के बाद अध्यापक को हर बच्चे का रिकार्ड अपनी दैनिक डायरी में दर्ज करना होगा। यह रिकार्ड एक वर्ष तक रखना होगा ताकि अधिकारियों की टीम की ओर से जांच करने पर उपलब्ध करवाया जा सके। दैनिक डायरी में रिकार्ड न मिलने पर संबंधित अध्यापक के खिलाफ विभागीय अनुशासनात्मक कार्रवाई किए जाने का प्रावधान किया गया है। dt
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