नारनौल : सरकारी स्कूल के 10वीं व 12वीं कक्षा के बच्चों के बोर्ड एग्जाम के रिजल्ट को सुधारने की शिक्षा विभाग ने नई कवायद शुरू की है। विभाग ने बच्चों को एग्जाम से पहले तैयार करने के उद्देश्य से एक्सट्रा क्लास पर फोकस करने की योजना बनाई है। शिक्षा विभाग ने स्कूल मुखियाओं से कमजोर बच्चों की लिस्ट तैयार करने को कहा है जिन्हें एक्स्ट्रा क्लास की जरूरत है।
विभाग ने सरकारी स्कूलों में दसवीं व बारहवीं कक्षा में पढ़ रहे ऐसे बच्चों के लिए एक्स्ट्रा क्लास लगाने की योजना बनाई है, जो किसी विषयों में कमजोर है। इसके लिए विभाग ने सभी सीनियर सेकेंडरी स्कूलों के मुखियाओं से ऐसे बच्चों की लिस्ट तैयार करने के आदेश दिए हैं। जिससे उनकी संख्या के हिसाब से इस एक्स्ट्रा क्लासों को प्रबंध किया जाए।
लिस्ट बनाने का काम शुरू
राजकीय कन्या वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय व वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय बाल में ऐसे बच्चों की लिस्ट तैयार की जा रही है, जो पढ़ाई में कमजोर है, यहीं नहीं 10वीं व 12वीं के बच्चों से उनके नाम मांगे गए हैं, जो कि एक्सट्रा क्लास लेना चाहते हैं। प्राचार्य पवन भारद्वाज का कहना है कि एक्स्ट्रा क्लास का मकसद बच्चों की परेशानियों को दूर करना होता है। इसलिए इस बार कमजोर बच्चों के लिए स्पेशल क्लास की व्यवस्था की जाएगी। यहीं नहीं स्टूडेंट्स खुद भी अपना नाम इस स्पेशल क्लास के लिए दे सकते हैं। यह क्लासेज एग्जाम के पहले दिन तक चलेंगी। कोई भी छात्र इसका हिस्सा बन सकता है।
"जिले के सभी सीनियर सेकेंडरी स्कूलों के प्राचार्यों को एक्स्ट्रा क्लास के संबंध में जानकारी दे दी गई है। जल्द ही बच्चों की संख्या के हिसाब से विषय स्तर पर क्लासों का प्रबंध करवाया जाएगा।"--संतोष तंवर, जिला शिक्षा अधिकारी नारनौल। db
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