** 400 के करीब शिक्षकों को नहीं मिली एसीपी
** शिक्षकों को सता रहा आचार संहिता लगने का डर
** आचार संहिता लगी तो दो महीने बाद ही मिल सकेगी एसीपी
कुरुक्षेत्र : जिलाभर के सैकड़ों जेबीटी शिक्षकों की आर्थिक पदोन्नति यानि एसीपी अटकी हुई है। हैरानी की बात तो यह है कि प्रदेश सरकार ने नोटिफिकेशन जारी कर सभी शिक्षकों को एसीपी का लाभ 31 जुलाई तक देने के निर्देश दिए थे। इसके बावजूद जिला शिक्षा विभाग ने एसीपी के मामलों को लटकाया हुआ है, जिसके चलते करीब 400 शिक्षकों को अब तक एसीपी का लाभ नहीं मिल पाया है। प्रदेश में आने वाले कुछ समय में चुनाव आचार संहिता भी लगने वाली है। ऐसे में एसीपी से वंचित रहने वाले शिक्षकों को आचार संहिता का भी डर सता रहा है। शिक्षकों का कहना है कि अगर आचार संहिता लग जाती है तो इससे उन्हें एसीपी दो महीने बाद ही मिल पाएगी।
कार्यप्रणाली पर उठे सवाल :
शिक्षक सूबे सिंह, मुकेश, प्रवीन, धर्मवीर, संजय और राजेश ने कहा कि 31 जुलाई तक एसीपी का काम पूरा ना होने से शिक्षा विभाग की कार्यप्रणाली पर भी सवाल उठ रहे हैं। शिक्षकों ने कहा कि तय समय में कार्रवाई नहीं करने वाले अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए, ताकि भविष्य में इस तरह की लापरवाही ना हो। शिक्षकों ने कहा कि अगर कोई भी शिक्षक विरोधी नीति लागू करनी होती है तो उसमें विभाग तुरंत कार्रवाई करता है और जहां शिक्षकों को लाभ देने की बात आती है वहां पर विभाग सुस्त हो जाता है। यह पूरी तरह से विभाग की दोहरी मानसिकता है।
शिक्षा विभाग अटका रहा रोड़े
राजकीय प्राथमिक शिक्षक संघ के जिला प्रधान विनोद चौहान ने कहा कि शिक्षा विभाग एसीपी देने के मामले में रोड़े अटकाने का काम कर रहा है। शिक्षकों ने एसीपी के केस बनाकर भेजे हुए हैं। इसके बावजूद कमियां निकालकर केसों को वापस भेजा रहा है। प्रदेश सरकार ने 31 जुलाई तक एसीपी के सभी केसों को प्राथमिकता के आधार पर निपटाने के लिए नोटिफिकेशन जारी किया था। इसके बावजूद शिक्षकों को इसका लाभ अब तक नहीं मिल पाया है। विनोद चौहान ने कहा कि शिक्षकों को चुनाव आचार संहिता का भी डर सता रहा है। अगर आचार संहिता लग गई तो दो से तीन महीने तक पदोन्नति का रास्ता बंद हो जाएगा। इसलिए विभाग को जल्द से जल्द शिक्षकों को एसीपी देने की कार्रवाई पूरी करनी चाहिए।
आर्थिक पदोन्नति है एसीपी
आठ, 16 और 24 साल की सेवा पूरी करने वाले शिक्षकों को एसीपी का लाभ दिया जाता है। यह एक तरह से आर्थिक पदोन्नति है। जिन शिक्षकों की प्रमोशन नहीं हो पाती, उन्हें आर्थिक रूप से पदोन्नति दी जाती है। इसके तहत शिक्षकों के बेसिक वेतन में इंक्रीमेंट लगाया जाता है। इससे आठ वर्ष की सेवा करने वाले शिक्षकों को करीब 1200 रुपए प्रति महीने का लाभ मिलेगा। वहीं बेसिक वेतन में इंक्रीमेंट के आधार पर ही अन्य भत्ते निर्धारित होते हैं।
सीधी बात : डॉ. अशोक, मौलिक शिक्षा अधिकारी
सवाल : एसीपीका लाभ शिक्षकों को देने की तिथि 31 जुलाई तक निर्धारित की गई थी, लेकिन अब तक सैकड़ों शिक्षकों को एसीपी का लाभ क्यों नहीं मिल पाया।
जवाब: मैं मानता हूं कि 31 जुलाई तक एसीपी के केस निपटाने का आदेश आया था, जिस पर कार्रवाई की गई है। जितने भी शिक्षकों की फाइल पूरी है, उन्हें तुरंत एसीपी का लाभ दिया जा रहा है।
सवाल: कितनेएसीपी के केस निपटाए गए हैं।
जवाब: मैं अभी कार्यालय में नहीं हूं, इसलिए इस बारे में पक्के तौर पर नहीं बता सकता लेकिन हमारे स्तर पर लापरवाही नहीं हो रही है। जल्द ही बाकी बचे शिक्षकों को भी एसीपी का लाभ दिया जाएगा। db
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