गुड़गांव : स्कूलों को 134 ए के तहत विद्यार्थियों को दाखिला देने में आनाकानी करने वाले स्कूलों की पहचान कर उनपर लगाम कसने के लिए अब शिक्षा निदेशालय ने कमर कस ली है। जो स्कूल 134 ए के तहत दाखिले में आनाकानी करते हैं या फिर सीटें न होने का बहाना बनाते हैं उनके लिए मुश्किल होने वाली है। अब स्कूलों को निदेशालय के आदेशों पर एक यूनिक आईडी दिया जा रहा है, जिसके बाद स्कूलों को अपने यहां होने वाले दाखिलों को ब्योरा देना होगा। हालांकि स्कूलों से इसका ब्योरा पहले भी मांगा जाता था लेकिन मैनुअल ब्योरा देने में कई बार स्कूल अनियमितता बरतते थे, लेकिन ऑनलाइन के जरिए स्कूलों को ऐसा करना ही होगा।
अब निजी स्कूलों की समस्या यह है कि जो स्कूल शहरी इलाकों में हैं उनके लिए तो ठीक है लेकिन जो स्कूल रिमोट एरिया व गांवों में हैं उनके पास कंप्यूटर तक नहीं हैं, नेट की तो बात ही दूर है ऐसे में वे कैसे दे सकेंगे ऑनलाइन ब्यौरा। सेक्टर चार स्थित सीसीए स्कूल की प्राचार्य डा. निर्मल यादव का कहना है कि इस आईडी के मिलने के बाद स्कूलों को दाखिला संबंधी सारी जानकारी देनी होगी मसलन छात्रों की संख्या, छात्रओं की संख्या, ईडब्ल्यूएस (इकोनॉमिकली वीकर सेक्शन) के विद्यार्थियों की संख्या। कई स्कूल पहले से अड़े हुए हैं कि उन्हें 25 प्रतिशत दाखिला देना भारी पड़ेगा और उसका अतिरिक्त भार 75 प्रतिशत सामान्य वर्ग के विद्यार्थियों पर पड़ेगा ऐसे में इसका पालन करना स्कूलों के लिए बेहद मुश्किल है। dj
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