चंडीगढ़ : हरियाणा के स्कूलों में योग एवं नैतिक शिक्षा को इसी शिक्षण सत्र से शामिल किया जाएगा। शिक्षा मंत्री प्रो. रामबिलास शर्मा ने इसके लिए विभागीय अधिकारियों को शीघ्र रिपोर्ट तैयार करने के निर्देश दिए हैं, ताकि मार्गदर्शन मंडल का गठन कर इसी शिक्षण सत्र से व्यवस्था लागू की जा सके।
शिक्षा मंत्री ने विभागीय अधिकारियों से कहा कि मान्यता प्राप्त निजी स्कूलों में आर्थिक रूप से कमजोर बच्चों व बीपीएल के लिए दस प्रतिशत सीटों पर मुफ्त दाखिले की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। हरियाणा स्कूल शिक्षा नियम 2003 की धारा 134-ए के तहत यह प्रावधान है। पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट ने यह व्यवस्था लागू करने के आदेश दिए हैं। दो लाख रुपये तक की आमदनी वाले व्यक्ति को गरीब की श्रेणी में रखा गया है। गरीबी रेखा से जीवन जीने वाले (बीपीएल) परिवारों के बच्चे भी इस पात्रता की श्रेणी में शामिल हैं। उन्होंने कहा कि शिक्षा अधिकारी मान्यता प्राप्त स्कूलों में दाखिला प्रक्रिया का आकलन करें।
शिक्षा मंत्री रामबिलास शर्मा ने कहा कि स्कूली पाठयक्रम में योग एवं नैतिक शिक्षा को वर्तमान नए शैक्षणिक सत्र में ही शामिल करने का इरादा है। उन्होंने कहा कि सभी को सरल, सुलभ शिक्षा उपलब्ध कराना सरकार का मुख्य उद्देश्य है। हमारे बच्चे संस्कारी, सदाचारी व गुणवान बनें, इसके लिए गीता के श्लोकों को स्कूली पाठय़क्रम का हिस्सा बनाया जाएगा। इस संबंध में विशेषज्ञों की राय ली जा रही है।
बैठक में विभागीय अधिकारियों ने मंत्री को जानकारी दी कि सभी संस्थानों को अपनी स्कूल वेबसाइट और स्कूल के सूचना पटल पर उपलब्ध सीटों, दाखिलों से संबंधित जानकारी उपलब्ध करवाने को कहा जा चुका है। हरियाणा स्कूल शिक्षा नियम 2003 की धारा 134-ए के नियम के प्रभावी क्रियान्वयन के लिए प्रदेश में जिला एवं खंड स्तर पर कमेटियां गठित की गई है। कमेटियों में शिक्षा अधिकारियों के अतिरिक्त समाज के प्रतिष्ठित व्यक्तियों, अभिभावक संघ तथा निजी स्कूलों के प्रतिनिधियों को शामिल किया गया है।
बैठक में उच्चतर शिक्षा विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव विजय वर्धन, मौलिक शिक्षा निदेशक सुकृति लिखी, अतिरिक्त निदेशक प्रशासन सुमेधा कटारिया व केएस मान मौजूद रहे।
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