सोनीपत : नेशनल एलिजिबिलिटी टेस्ट (नेट) के एग्जाम पैटर्न में बदलाव करने से पहले यूजीसी राय शुमारी करने में जुटी है। यूजीसी के नेशनल एजुकेशन टेस्टिंग ब्यूरो ने नेट एग्जाम से संबंधित दस बिंदुओं पर शिक्षाविदों और स्टूडेंट्स से राय मांगी है। इसके लिए यूजीसी ने अपनी वेबसाइट पर फॉर्मनुमा एक प्रश्नावली जारी की है। इस बात की प्रबल संभावना है कि नेट एग्जाम में भविष्य का जो भी स्वरूप सामने आए वह इसी राय शुमारी से निकले निचोड़ का परिणाम हो।
यूजीसी की राय शुमारी का हिस्सा सिर्फ स्टूडेंट व टीचिंग फैकल्टी ही नहीं बल्कि एजुकेशनल एडमिनिस्ट्रेटर और शिक्षा से जुड़े अन्य व्यक्ति भी इन प्रश्नों पर अपनी राय दे सकते हैं। इसके लिए यूजीसी ने अपनी वेबसाइट पर फॉर्म नुमा एक क्वश्चेनायर जारी किया है। इसमें हां या नहीं में दस प्रश्नों पर फीडबैक मांगा गया है।
ऐसे दे सकते हैं अपनी राय
यूजीसी की वेबसाइट पर विजिट करते ही फॉर्म नुमा पेज ओपन होगा। इसमें कैटेगरी में चार ऑप्शन हैं स्टूडेंट, टीचिंग फैकल्टी, शिक्षाविद् और अन्य। अपनी कैटेगरी सलेक्ट करके नाम, ई-मेल और मोबाइल नंबर टाइप करें। इसके बाद दस सवालों के जवाब हां या नहीं में देकर सबमिट के ऑप्शन पर क्लिक करके आप फीडबैक दे सकते हैं।
...तो पूरी तरह बदल जाएगा नेट का पैटर्न
लगभग दो साल पहले नेट का पहला पेपर ऑब्जेक्टिव, दूसरा और तीसरा मेन सब्जेक्ट के तहत डिस्क्रिप्टिव होता था। इसमें हर वो उम्मीदवार क्वालिफाई घोषित कर दिया जाता था, जो तीनों पेपर में पूर्व निर्धारित मिनिमम माक्र्स ले आता था। इस पैटर्न को बदलने का देशभर में विरोध हुआ था। इसके बाद नया पैटर्न लॉन्च किया गया, जिसके तहत फिलहाल, नेट ऑब्जेक्टिव पैटर्न पर होता है। निगेटिव मार्किंग सिस्टम नहीं है। db
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