कुरुक्षेत्र : भारतीय जनता पार्टी ने देश में सरकार आने से पहले अच्छे दिनों का दावा किया था। देशभर के लोगों के अच्छे दिन आए न आए, लेकिन प्रदेश में गुरुजी के बुरे दिन समाप्त होने का नाम नहीं ले रहे हैं। पिछले कई वर्षो से ही अपने तुगलकी फरमानों के लिए जाने जाने वाले शिक्षा विभाग ने इस बार गुरुजी को धमका के लिया है और वो भी सीधे पत्र भेजकर। विभाग की ओर से शिक्षकों को चेतावनी दी गई है कि स्कूली बच्चों की तमाम जानकारियों को ऑनलाइन करने का कार्य किया जाए। पत्र में साफ कहा गया है कि अगर किसी शिक्षक ने इस बार समय से एमआइएस यानि (मॉनिटिरिंग इन्फोरमेशन सिस्टम) को भरकर नहीं दिया तो उसे जून माह का वेतन नहीं मिलेगा। प्रदेश में शिक्षा विभाग पिछले कई वर्षों से प्रयोगशाला ही बना हुआ है। जिसमें पहले शिक्षा का अधिकार, फिर सेमेस्टर सिस्टम, अतिथि अध्यापक और पता नहीं क्या-क्या किया गया। अब ये सब चीजें शिक्षा विभाग पर भारी पड़ रही हैं। हालांकि भाजपा सरकार आने के बाद स्कूल शिक्षकों को यह लगने लगा था कि उनके दिन फिर से बहुरेंगे, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। गुरुजी को इस बार छुट्टियां भी सुकुन से बिताने का मौका नहीं मिला। पहले परीक्षा परिणाम खराब आने के बाद विभाग की ओर से शिक्षकों को छुट्टियों में पढ़ाने के आदेश दे दिए गए। हालांकि शिक्षक शोर मचाते रहे कि स्कूलों में बच्चे नहीं आ रहे हैं, लेकिन विभाग ने उनकी एक नहीं सुनी। इस बार भी शिक्षकों के साथ विभाग ने सौतेला ही नहीं बंधुआ मजदूरों जैसा व्यवहार किया है। विभाग की ओर से इस सत्र में विद्यार्थियों के बारे में पूर्ण जानकारी मुहैया कराने के आदेश दिए गए थे।
बिना किसी सुविधा के कर रहे हैं शिक्षक काम : पवन
इस मामले में हरियाणा विद्यालय शिक्षक संघ के जिला महासचिव पवन मित्तल का कहना है कि विभाग ने केवल आदेश दिए हैं, जबकि शिक्षकों को सुविधा के नाम पर कुछ भी नहीं दिया जा रहा है। ऑनलाइन आवेदन करने के लिए शिक्षकों को दुकानों पर धक्के खाने पर मजबूर होना पड़ रहा है। उपर से यह तुगलकी फरमान की काम समय पर नहीं हुआ तो वेतन काट लिया जाएगा। विभाग ने शिक्षक वर्ग को शिक्षक की बजाए क्लर्क बना दिया है। dj
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