उचाना(जींद) : मांडी गांव के युवक दयाल चंद शर्मा (35) साल ने
शनिवार को मनीमाजरा (पंचकूला) में अपने भाई प्रवीण के निवास पर फांसी का
फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली।1मृतक प्रदेश सरकार की ओर से हटाए गए लैब
सहायकों में से ही एक था व हटाने से पहले नजदीकी गांव संडील में कार्यरत
था। दयाल चंद शर्मा के आत्महत्या की सूचना मिलने के बाद प्रदेश भर से लैब
सहायक अंतिम संस्कार में शामिल होने के लिए मांडी पहुंचे तथा मौत के लिए
प्रदेश सरकार को जिम्मेदार ठहराया। लैब सहायकों ने प्रदेश सरकार को मृतक के
परिवार को एक सप्ताह के भीतर 10 लाख रुपये मुआवजा व परिवार के एक सदस्य को
सरकारी नौकरी देने की मांग की है व निर्धारित समय में मांग नहीं मानने पर
आंदोलन की चेतावनी दी है। कम्प्यूटर टीचरों ने कहा कि यदि सरकार ने
निर्धारित अवधि में मांग नहीं मानी तो प्रदेश भर के कंप्यूटर शिक्षक मांडी
गांव में एकत्रित होकर आगामी रणनीति तय करेंगे। मृतक के परिजनों का कहना
है कि नौकरी जाने के बाद से दयाल चंद मानसिक रूप से परेशान रहता था तथा
विकलांग होने के कारण कोई दूसरा काम करने में सक्षम नहीं था। मृतक के छोटे
भाई प्रवीण ने बताया की दयाल चंद तीन दिन पहले चंडीगढ़ में नौकरी की तलाश
में उसके पास मनीमाजरा आया था तथा शनिवार को उसे घर छोड़कर वह काम पर चला
गया। जब रात को काम से वापस लौटा तो कमरे में उसका शव फांसी के फंदे से
लटकता मिला। मृतक का रविवार को मांडी गांव में अंतिम संस्कार कर दिया गया।
दयाल चंद शर्मा तीन भाइयों में मझला था व मां रामदेई के पास रहता था। dj
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