अम्बाला सिटी : जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी द्वारा जिले के सभी ब्लॉकों में खुला दरबार लगाकर समस्याओं का तुरंत निपटारा किया जाएगा। सरकारी स्कूलों में तैनात शिक्षकों को अक्सर शिकायत रहती थी कि उनके रूटीन कार्यों को करने में विभाग के क्लर्क आनाकानी करते हैं। इस कारण उन्हें मुश्किलों का सामना करना पड़ता है। अब खुले दरबार में वे बेझिझक होकर अपनी समस्याओं को अधिकारियों के सामने रखकर निपटारा करा पाएंगे। शिक्षकों को अपने जीपीएफ, एसीपी, सीसीएल, एलटीसी व पेंशन संबंधी कार्यों के लिए क्लर्कों की जी हजूरी करनी पड़ती थी।
खुले दरबार को जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी द्वारा हर तीन महीने बाद जिले के प्रत्येक ब्लॉक में आयोजित किया जाएगा। दरबार के एजेंडे में 30 मुद्दों को रखा गया है। इसमें स्कूलों में दिया जाने वाला मिड-डे-मील का हिसाब-किताब, उपस्थित छात्रों का खर्च, मौजूदा स्टॉक, बकाया राशन, अनुपस्थित छात्रों का बकाया, सभी तरह के रिकॅार्ड, आय-व्यय का लेखा-जोखा, स्कूल में तैनात सभी चौकीदारों का रिकॉर्ड, सफाई-कर्मियों का रिकॉर्ड, शिक्षा के अधिकार का स्टेटस, किताबों, डेस्क समेत अन्य कार्यों से संबंधित मामलों का निपटारा करने का प्रयास किया जाएगा। खुले दरबार का आयोजन अम्बाला-1 ब्लॉक में 18 नवंबर को आर्य स्कूल में किया जाएगा। अम्बाला-2 ब्लॉक में 19 नवम्बर को एसडी स्कूल में, 20 को साहा, 21 को शहजादपुर, 22 को बराड़ा व 23 नवंबर को नारायणगढ़ में आयोजित किया जाएगा।
"खुले दरबार का आयोजन शिक्षकों व अन्य कर्मचारियों की दिक्कतों को दूर करने के उद्देश्य से किया जा रहा है। इसमें शिक्षकों व कर्मचारियों की हर तरह की समस्या का मौके पर समाधान करने के प्रयास किए जाएंगे।"--परमजीत शर्मा, जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी, अम्बाला। db
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