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Friday, 28 April 2017

सरकारी स्कूलों के 5.23 लाख विद्यार्थियों को मिलेगी पिछले साल की ड्रेस ग्रांट

** आधार बैंक से लिंक होने की वजह से सरकारी स्कूलों के छात्रों को नहीं मिला था वर्दी का पैसा, अब आधार जरूरी नहीं 
** प्राइवेट स्कूलों की तर्ज पर तय होगा ड्रेस कोड
** सरकारी स्कूलों में बच्चों को 800 से 1000 रुपए दी जाती है वर्दी की राशि 
यमुनानगर / रोहतक : सरकारी प्राथमिक माध्यमिक स्कूलों के 5.23 लाख विद्यार्थियों के बैंक खातों से आधार लिंक होने से उनके बैंक खाते में सरकार द्वारा ड्रेस के लिए दिए जाने वाले 800 से 1000 रुपए नहीं पहुंचे। यही समस्या इस साल भी बनी हुई है। 

हालांकि शिक्षा विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव पीके दास ने बताया कि 15 मई तक बच्चों के खातों में इस साल की ड्रेस की राशि डालने की बात कही है। उन्होंने दावा किया है कि इस बार आधार की अनिवार्यता खत्म कर दी गई है और पिछली बार का पैसा भी बच्चों के खातों में डलवाया जाएगा। राज्य परियोजना निदेशक के पत्र के अनुसार बच्चों के आधार नंबर ठीक होने आधार नंबर बैंक खाते से जुड़े से राशि खातों में नहीं भेजी गई थी। ऐसे बच्चों की अपडेट जानकारी डीईओ डीईईओ से मांगी गई है ताकि 15 मई तक यूनिफार्म की राशि भेजी जा सके। हालांकि जिलास्तर पर अभी तक स्कूल मुखिया आधार से बैंक खाते अपडेट करा रहे हैं। 
निदेशालय की ओर से भेजे आदेशों में स्पष्ट कहा गया है कि विद्यार्थियों की सभी प्रकार की ग्रांट, प्रोत्साहन राशियां एमआईएस पोर्टल पर अंकित उनके आधार नंबर बैंक खाता नंबर के आधार पर जारी की जानी है। यदि विद्यार्थियों की जानकारी एमआईएस पोर्टल पर ठीक नहीं है, तो इसके लिए स्कूल मुखिया जिम्मेदार होंगे। 
स्कूल में बिना ड्रेस पहुंच रहे विद्यार्थी.... रोहतक | काठमंडीस्थित राजकीय स्कूल में ड्रेस के पैसे नहीं आने से बिना ड्रेस के स्कूल में पहुंच रहे विद्यार्थी। 
दूसरी ग्रांट आ रही तो गलत कैसे 
रोहतक के सुखपुरा चौक स्थित राजकीय माध्यमिक स्कूल की मुख्याध्यापिका सुशीला देवी ने बताया कि गत सत्र में 164 बच्चे नामांकित रहे। 56 बच्चों को छोड़कर सभी बच्चों के खातों में यूनिफार्म की राशि गई, लेकिन शेष बच्चे आज भी ड्रेस के पैसों के बारे में पूछते हैं। ऐसे भी बच्चे हैं, जिनके खातों में स्टेशनरी अटेंडेंस की राशि गई है तो फिर वे खाते गलत कैसे हो सकते हैं। जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी परमेश्वरी हुड्डा ने बताया कि अधिकांश स्कूलों में यूनिफार्म की राशि छात्रों के खाते में पहुंच चुकी है। स्कूलों के मुखिया से ऐसे बच्चों की लिस्ट तैयार कर बैंक खाते अपडेट कराने को कहा जाएगा। 
बिना आधार नंबर भी देंगे राशि 
"यह सही है कि प्रदेश के कई जिलों में बच्चों के खातों में राशि नहीं पहुंच पाई है। गत वर्ष बच्चों ने खाते तो खुलवा लिए, लेकिन आधार नंबर अपने अभिभावक का अपडेट करा दिया। इसकी वजह से खातों में जमा कराई गई राशि वापस लौट आई। सभी खातों का वेरीफिकेशन करा लिया गया है। नए सत्र में पिछले वर्ष यूनिफार्म से वंचित बच्चों के खातों में राशि जमा कराई जाएगी। आधार नंबर लिंक कराना अब अनिवार्य नहीं रहेगा। यदि अभिभावक आधार लिंक नहीं कराते हैं तो भी राशि हम खाते में जमा कराएंगे।"-- पीके दास, अतिरिक्त मुख्य सचिव, शिक्षा विभाग 
प्राइवेट स्कूलों की तर्ज पर तय होगा ड्रेस कोड 
राज्य परियोजना निदेशक के पत्र के अनुसार नए सत्र के लिए सरकारी स्कूलों में प्रबंधन कमेटी विद्यार्थियों के लिए यूनिफॉर्म का चयन करेगी। स्कूल मुखिया अभिभावक अध्यापक संघ स्कूल प्रबंधन कमेटी की मीटिंग कराएंगे। जिसमें यूनिफॉर्म का डिजाइन कलर तय किया जाएगा। इसके बाद स्कूलों में लगने वाली यूनिफॉर्म के संबंध में प्रस्ताव पास किया जाएगा। निदेशालय की ओर से इस संबंध में जिला शिक्षा अधिकारियों के माध्यम से स्कूल मुखियाओं को आदेश जारी किए गए हैं। यमुनानगर की डीईओ आनंद चौधरी ने बताया कि निदेशालय ने यूनिफॉर्म के डिजाइन कलर को लेकर प्रबंधन समितियों की मीटिंग में प्रस्ताव पास करने के आदेश दिए हैं। 

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