नई दिल्ली: 10वीं कक्षा की परीक्षा में कम अंक आने पर एक निजी स्कूल
द्वारा छात्र को11वीं कक्षा में दाखिला देने से इन्कार करने के खिलाफ
दिल्ली हाई कोर्ट में याचिका लगाई गई है। वकील अशोक अग्रवाल ने बताया कि
छात्र यश को यह कहते हुए दाखिला नहीं दिया गया है कि इस स्कूल में केवल
विज्ञान और कामर्स स्ट्रीम में ही पढ़ाई होती है। कम अंक आने की वजह से
स्कूल छात्र को आर्ट्स में दाखिला लेने की सलाह देते हुए अन्य स्कूल में
जाने के लिए कह रहा है। यश ने इसी स्कूल में विज्ञान व कॉमर्स में से ही एक
स्ट्रीम में दाखिला देने की मांग की, लेकिन स्कूल ने इन्कार कर दिया।
सुप्रीम कोर्ट केएक फैसले का हवाला देते हुए याचिका में कहा गया कि स्कूल
के पास जो भी स्ट्रीम है उसी में छात्र को दाखिला देना होगा। दाखिला नहीं
देने का मतलब सुप्रीम कोर्ट के आदेश की अनदेखी करना है।
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