** छह माह के अंदर विभाग को करनी होगी शिक्षकों की भर्ती, नहीं तो होंगे गंभीर परिणाम
पानीपत : एक बार फिर हरियाणा के सरकारी स्कूलों में शिक्षा
पर ग्रहण लग सकता है। छह माह के अंदर सूबे के सरकारी स्कूलों के 1600
कर्मचारी सेवानिवृत्त होने के कारण शिक्षा के मंदिरों का साथ छोड़ देंगे।
इनकी सेवानिवृत्ति के बाद शिक्षा व्यवस्था पर असर पड़ने के साथ ही
विद्यार्थियों को पढ़ने के लिए पर्याप्त शिक्षक नसीब नहीं हो पाएंगे। यदि
सरकार ने छह माह के अंदर नए शिक्षकों की भर्ती करके इनकी कमी को पूरा नहीं
किया तो भविष्य में इसके गंभीर परिणाम देखने
को मिलेंगे।
एक तरफ सरकार और शिक्षा विभाग खराब परीक्षा परिणाम को सुधारने
के लिए माथापच्ची कर रहे हैं, दूसरी ओर उनकी परेशानी और ज्यादा बढ़ती जा
रही है। हाल में विभाग ने खाली पदों पर उन शिक्षकों को भेजने के निर्देश
दिए थे, जहां छात्र संख्या कम और शिक्षकों की संख्या ज्यादा थी, लेकिन अब
शायद इससे भी काम नहीं चलेगा, क्योंकि आने वाले कुछ महिनों में विभाग के
1600 कर्मचारी रिटायर होने जा रहे हैं। इसमें 1300 से अधिक विभिन्न कैटेगरी
के शिक्षक हैं और बाकी लगभग 300 गैर शिक्षक शामिल हैं। ऐसे में जून तक
विभाग के पास प्रदेशभर में शिक्षकों के खाली पदों की संख्या भी बढ़कर तीन
हजार से अधिक हो जाएगी।
शिक्षा विभाग ने प्रदेश भर के उन कर्मचारियों की
सूची तैयार की है, जो आने वाले पांच माह में सेवानिवृत्त होने वाले हैं।
इसमें हर जिले से लेकर चंडीगढ़ में कार्यरत शिक्षक, अधिकारी व गैर शिक्षक
शामिल हैं। विभाग की सूची के अनुसार 31 जनवरी से 30 जून तक प्रदेश भर में
1600 शिक्षक व गैर शिक्षक रिटायर हो रहे हैं।
इसमें शिक्षकों की संख्या
1300 से हैं, जिसमें विभिन्न कैटेगरी के शिक्षकों के अलावा बीईओ से लेकर
डीईओ स्तर के अधिकारी भी शामिल हैं। हालांकि इनमें प्राइमरी से लेकर
¨प्रसिपल कैटेगरी की संख्या सबसे ज्यादा है, जबकि गैर शिक्षकों की संख्या
लगभग 300 के आसपास है, जिसमें चतुर्थ श्रेणी से लेकर सुपरिंटेंडेंट पद के
लोग शामिल हैं।
इन विषयों पर पड़ेगा असर
शिक्षा निदेशालय द्वारा जारी की गई
सूची के अनुसार सेवानिवृत्त होने वालों में हंिदूी, पंजाबी, ड्राइंग,
इतिहास, अर्थशास्त्र, गणित, संस्कृत, राजनीतिक विज्ञान, सामाजिक शास्त्र के
शिक्षक शामिल हैं।
पढ़ाई पर असर पड़ना स्वभाविक :
जिला शिक्षा अधिकारी
सुरेश का कहना है कि मुख्यालय द्वारा सेवानिवृत्त सूची विभागीय वेबसाइट पर
डाली गई है। इनके जाने से पढ़ाई पर असर पड़ना स्वभाविक है।
भर्ती अटकी, बढ़ेगी परेशानी
प्रदेश में 9455 चयनित जेबीटी शिक्षकों की ज्वाइनिंग लंबे समय से अटकी पड़ी है। इनका परिणाम अगस्त, 2014 में घोषित हो चुका है, लेकिन अब तक इनकी ज्वाइनिंग नहीं हो सकी है, ऐसे में ज्वाइनिंग न होने और अन्य शिक्षकों के सेवानिवृत्त होने पर काम का बोझ अन्य शिक्षकों पर पड़ेगा, साथ ही खाली पद होने पर बच्चों की पढ़ाई भी प्रभावित होगी। dj
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