चंडीगढ़ : हरियाणा के तीन हजार से अधिक छात्रों के तीन साल जाली स्कूल लिविंग प्रमाणपत्र के कारण बर्बाद हो गए हैं। उत्तर प्रदेश से जाली प्रमाणपत्र के आधार पर नौवीं और दसवीं पास करने वाले छात्रों को अब दोबारा नौवीं कक्षा में ही बैठना होगा। अभी ये छात्र 11वीं की परीक्षा की तैयारियां कर रहे थे। पूर्व हुड्डा सरकार के समय ही जाली प्रमाण पत्र का खुलासा हो गया था, लेकिन छात्रों के भविष्य को देखते हुए इन्हें ओपन बोर्ड में शिफ्ट कर दिया। लेकिन वर्तमान मनोहर सरकार ने कड़ा निर्णय लेते हुए इनके नौवीं व दसवीं के प्रमाण पत्र रद कर दिए हैं। शिक्षा बोर्ड की ओर से बाकायदा इसके आदेश जारी किए गए हैं। 2013-14 में दसवीं की परीक्षा के लिए आवेदन करने के दौरान छात्रों के फर्जी स्कूल लिविंग प्रमाणपत्र पकड़े गए थे। जांच में सामने आया था कि जिन स्कूलों के प्रमाणपत्र दिए गए हैं, वे अस्तित्व में ही नहीं हैं। जिन बच्चों के प्रमाणपत्र रद किए गए हैं, वे सभी दूसरे राज्यों से संबंधित हैं। पूर्व सरकार के फैसले को पलट कर भाजपा सरकार ने शिक्षा का स्तर सुधारने के प्रति कड़ा संदेश दिया है। dj
No comments:
Post a Comment
Note: only a member of this blog may post a comment.